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Thursday, April 25, 2024
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CAA विरोधी आन्दोलन में सक्रीय रहीं लख़नऊ की ज़ैनब सिद्दीकी के घर पुलिस बर्बरता, पिता गिरफ्तार

इंडिया टुमारो से बात करते हुए ज़ैनब ने बताया कि, “रात 8 बजे के करीब कुछ पुलिसकर्मियों के साथ सादे कपड़ों में कुछ लोग आए और मेरे पिता को ले जाने लगे. घर में केवल महिलाएं ही थीं. जब हमने उनसे कारण पूछा तो उन्होंने कोई जवाब नहीं दिया. हमने पिता जी को ले जाने का विरोध किया तो उन्होंने हमसे धक्का-मुक्की की, गलियां दीं और मेरी बहनों को सड़क पर बुरी तरह मारा.”

मसीहुज़्ज़मा अंसारी | इंडिया टुमारो

लखनऊ, 6 नवंबर | लखनऊ में CAA विरोधी प्रदर्शनकारियों पर पुलिसिया दमन जारी है. ताज़ा मामला लखनऊ का है जहाँ सामाजिक कार्यकर्ता और CAA विरोधी आन्दोलन में सक्रीय रहीं ज़ैनब सिद्दीकी के घर से गुरुवार की शाम पुलिस उनके भाई और पिता को पूछ-ताछ के नाम पर हसनगंज थाने ले गई.

इस पूरी प्रक्रिया में घर वालों से पुलिस की झड़प भी हुई जिसका वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल हो रहा है.

वीडियो में पुरुष पुलिसकर्मियों द्वारा घर की महिलाओं से धक्का-मुक्की करते हुए देखा जा सकता है जिसकी सोशल मीडिया पर ख़ूब आलोचना भी हो रही है.

सामाजिक कार्यकर्ता के पिता और भाई को लखनऊ पुलिस पूछ-ताछ के लिए हसनगंज थाने ले गई. हालाँकि, भाई को सुबह छोड़ दिया गया है.

ज़ैनब सिद्दीकी ने बताया कि पुलिस द्वारा उनके घर आकर पहले CAA आंदोलन में उनकी सक्रीयता के सम्बन्ध में पूछ-ताछ की गई.

इंडिया टुमारो से बात करते हुए ज़ैनब ने बताया कि, “मेरे घर कल 5-6 बजे के बीच कुछ पुलिस वाले आए और मेरी फोटो दिखाकर पिता जी से मेरे बारें में CAA और NRC विरोधी आन्दोलन से जुड़े होने की जानकारी ले रहे थे. मेरे पिता ने बताया कि वह महिला संगठन से जुड़ी है और महिला अधिकारों के लिए काम करती है. इसके बाद वो पुलिसकर्मी चले गए.”

ज़ैनब आगे कहती हैं, “रात 8 बजे के करीब कुछ पुलिसकर्मियों के साथ सादे कपड़ों में कुछ लोग आए और मेरे पिता को ले जाने लगे. घर में केवल महिलाएं ही थीं. जब हमने उनसे कारण पूछा तो उन्होंने कोई जवाब नहीं दिया. हमने पिता जी को ले जाने का विरोध किया तो उन्होंने हमसे धक्का-मुक्की की, गलियां दीं और मेरी बहनों को सड़क पर बुरी तरह मारा.”

उन्होंने बताया कि मेरे पिता मोहम्मद नईम और मेरे भाई मोहम्मद शान को मारते हुए गाड़ी पर बिठाया और हसनगंज थाने ले गए. आरोप है कि पुलिस बल ने परिवार के सदस्यों को लाठी-डंडे से मरना शुरू कर दिया. परिवार द्वारा आरोप लगाया गाया है कि जैनब की छोटी बहनों को सड़क पर पुलिस ने पीटा, धक्का-मुक्की की और गालियां देते हुए जैनब के पिता को हसनगंज थाने ले गए.

इंडिया टुमारो से बात करते हुए लखनऊ के हसनगंज थाने के एसएचओ ने बताया कि ज़ैनब के भाई और पिता को पूछ-ताछ के लिए हसनगंज थाने लाया गया था. एसटीएफ द्वारा पूछ-ताछ के बाद भाई को छोड़ दिया गया और पिता से पूछ-ताछ जारी है.

इस सवाल पर कि किस मामले में पूछ-ताछ की जा रही है, लखनऊ के हसनगंज थाने के एसएचओ ने कारण बताने से इंकार कर दिया.

इंडिया टुमारो को ज़ैनब की बहन ने बताया कि, “मेरे भाई मोहम्मद शाद (16 वर्ष) को पुलिस ने बुरी तरह मारा है. वह 10वीं का छात्र है और पुलिस उसे रात भर थाने में बैठाए रही और सुबह 9 बजे छोड़ दिया.”

उन्होंने बताया, “मेरे भाई मोहम्मद शाद को काफी चोटें लगी हैं, पुलिस ने नाबालिग़ बच्चे के साथ अमानवीय बर्ताव किया है. वह ठीक से बात भी नहीं कर पा रहा है और बुरी तरह डरा हुआ है.”

ज़ैनब ने बताया कि,”मेरे पिता इस समय कहाँ हैं इसकी परिवार को कोई सूचना नहीं है. जब हमने हसनगंज थाने के एसएचओ से पूछा तो वह किसी भी जानकारी से इनकार कर दे रहे हैं. मेरा पूरा परिवार परेशान है.”

उन्होंने बताया कि, “हमने डीसीपी शालनी से घटना के बारे में बताया और पिता की सुरक्षा को लेकर चिंता जताई तो उनका जवाब था कि उन्हें इस घटना के सम्बन्ध में कोई जानकारी नहीं है. ऐसे में हम सभी बहुत ही परेशान हैं.”

पूरी घटना का वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल है जिसमें पुरुष पुलिसकर्मियों द्वारा घर की महिलाओं के साथ धक्का-मुक्की करते हुए देखा जा सकता है. वीडियो में पुलिसकर्मी महिलाओं को लाठी से मरते हुए भी नज़र आरहे हैं.

रिहाई मंच इस पुलिसिया दमनात्मक कार्रवाई का विरोध करते हुए जैनब के परिजनों की सुरक्षा और तत्काल रिहाई की मांग की है.

इंडिया टुमारो से बात करते हुए रिहाई मंच के महासचिव राजीव यादव ने कहा, “बिना कारण बताए गैर कानूनी तरीके से किसी को थाने ले जाना गलत है. यह परेशान करने के मकसद से लोगों कि आवाज़ का दमन करने के लिए किया जा रहा है.”

राजीव ने कहा, “योगी पुलिस संविधान-लोकतंत्र को ताक पर रखकर दमन की कार्रवाई कर रही है. इसी के तहत फिर से नागरिकता आंदोलन के नाम पर लोगों के होर्डिंग-पोस्टर लगवा रही है जबकि इलाहाबाद हाई कोर्ट भी यूपी सरकार के इस कदम पर सवाल उठा चुका है.”

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